रक्त प्रदर रोग का उपाय (कल छूटना )
रकत प्रदर रोग या कल छूटना दो तरह का होता है एक में रकत बहता है दूसरे में पानी । स्त्री जाति को रकत प्रदर रोग हो जाने पर या कल छूटने पर उसके सरीर से लगातार माहवारी का रकत बहता रहता है।या पानी चलता है ।जिस्से उसके सरीर में रकत की कमी हो जाती उसकी मौत भी हो सकती है। इस रोग का शीघ्र उपचार करना चाहीए।
उपचार- इस रोग में हलदी 5 ग्राम, रसौत 5 ग्राम,चंदन 5 ग्राम ले कर कूट पीस कर कपड्छान करके इसमें से 1-1 ग्राम दवा सुबह शाम कच्चे चावल के धोवन से लगातार 7 दिन खाने से यह नामुराद रोग सदा के लिए जाता रहता है ।म.वि.स-183
रकत प्रदर रोग या कल छूटना दो तरह का होता है एक में रकत बहता है दूसरे में पानी । स्त्री जाति को रकत प्रदर रोग हो जाने पर या कल छूटने पर उसके सरीर से लगातार माहवारी का रकत बहता रहता है।या पानी चलता है ।जिस्से उसके सरीर में रकत की कमी हो जाती उसकी मौत भी हो सकती है। इस रोग का शीघ्र उपचार करना चाहीए।
उपचार- इस रोग में हलदी 5 ग्राम, रसौत 5 ग्राम,चंदन 5 ग्राम ले कर कूट पीस कर कपड्छान करके इसमें से 1-1 ग्राम दवा सुबह शाम कच्चे चावल के धोवन से लगातार 7 दिन खाने से यह नामुराद रोग सदा के लिए जाता रहता है ।म.वि.स-183
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